राज्य कैंपा मद का जमकर हुआ दुरूपयोग

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0 पेड़ों की अवैध कटाई व निर्माण कार्यों में भ्रष्टाचार की जांच आवश्यक

जगदलपुर। बस्तर वन मंडल के वन अधिकारी दिलेश्वर साहू की लापपरवाही का खामियाजा वनों को विनाश की ओर पहुंचा रहा है। जब से वन मंडल अधिकारी साहू पदस्थ हुए है तब से वनमडल में भ्रष्टाचार औार अवैध कटाई के साथ अनेक विभागीय कार्य राज्य कैंपा मद से कराए गए कार्यों में व्यापक तौर पर धांधली की निरंतर शिकायतें उच्च स्तर पर हुई है। इसी तारतम्य में बस्तर के अने वनमंडलाधिकारियों को इधर से उधर तबादला किया गया है। वन बल प्रमुख संजय शुक्ला के पदस्थ होने के बाद मुख्यमंत्री के कड़े तेवर के चलते कैँपा मद पर हुए व्यापक पैमाने पर गाडिय़ों की खरीदी तथा अन्य कार्य जो निर्धारित मापदंड में नहीं आते। सामने आने पर कई वन क्षेत्रपाल पर जांच की सुई मंडरा रही है। मुख्य वन संरक्षक शाहिद खान के कड़े रूख से भी वन महकमा उन्हें गुमराह करता आया है। इसी तारतम्य में वन परिक्षेत्र बकावंड में छंटाई के नाम पर पेड़ों की बेतहाशा अवैध कटाई और निर्माण कार्यों में गड़बड़ी को लेकर बस्तर के वरिष्ठ कांग्रेस नेता एवं प्रदेश कांग्रेस कार्यसमिति सदस्य पं. उमाशंकर शुक्ला ने कहा कि बकावंड फारेस्ट रेंज में हुई अवैध कटाई तथा वन परिक्षेत्र अधिकारी के निगहबानी में कराए गए व कराए जा रहे तमाम निर्माण कार्यों की जांच और वन परिक्षेत्र अधिकारी के विरूद्ध कार्रवाई की मांग राज्य शासन से की है।
उन्होने बताया कि बकावंड परिक्षेत्र के  जुनावनी, झार उमरगांव, उलनार, कोसमी आदि गांवों के जंगलों में पेड़ों की सूख चुकी डंगालों की छंटाई की आड़ में कीश्रीमती प्रजाति के पेड़ों की अवैध कटाई जोरों से चल रही है। वन परिक्षेत्र अधिकारी राजकुमार ध्रुव तथा अन्य वन्यकर्मियों की इसमें मिलीभगत है। इस अधिकारी के संरक्षण में लकड़ी माफिया जंगलों का तेजी से सफाया करते जा रहे हैं। पंचायत प्रतिनिधियों और वन सुरक्षा समितियों के पदाधिकारियों की शिकायत को रेंजर राजकुमार ध्रुव अनसुना कर देते हैं। जंगलों को खाली मैदान में तब्दील किया जा रहा है। इस खाली जमीन पर लोग अवैध कब्जा भी करने लगे हैं। वरिष्ठ कांग्रेस नेता पं. उमाशंकर शुक्ला ने जंगलों को उजाड़े जाने पर गहरी चिंता जताई है तथा क्षोभ व्यक्त किया है। पं. शुक्ला ने कहा है कि कभी घने जंगलों से आच्छादित रहा बस्तर अधिकारियों की स्वार्थ लिप्सा के कारण पेड़ों से विहीन होता जा रहा है। विभागीय अधिकारी लकड़ी तस्करों से सांठ-गांठ कर जंगलों का सफाया करने पर तुले हुए हैं। पर्यावरण को भी भारी क्षति पहुंचाई जा रही है। पं. उमाशंकर शुक्ला ने इस अवैध कटाई और पर्यावरण को पहुंचाई जा रही क्षति को लेकर सरपंच पंचों तथा ग्रामीणों की चिंता को जायज बताते हुए कहा कि अब बस्तर के लोग जागरूक हो चले हैं, इसलिए अधिकारी मनमानी करने से बाज आएं। पं. उमाशंकर शुक्ला ने धर्म स्थलों तथा विभाग से जुड़े विभिन्न निर्माण कार्यों में भी रेंजर राजकुमार ध्रुव द्वारा बरती जा रही अनियमितता पर कड़ी नाराजगी जताई है। उन्होने कहा कि कुछ दिनों पहले ही बकावंड वन परिक्षेत्र की ग्राम पंचायत झारउमरगांव और आसना वन के जंगलों की सुरक्षा के लिए केंद्रीय कैम्पा मद से कराए जा रहे तटबंध कार्य में भारी अनियमितता बरती जाने की शिकायत सामने आई थी। इसके पहले ग्राम कोसमी के एकटागुड़ा पारा में देवगुड़ी संधारण कार्य में भी रेंजर पर भ्रष्टाचार के आरोप लग चुके हैं। पं. शुक्ला ने कहा है कि रेंजर राजकुमार ध्रुव कांग्रेस सरकार की छवि धूमिल करने का काम कर रहे हैं। ऐसे भ्रष्ट अधिकारी पर कड़ी से कड़ी कार्रवाई की जानी चाहिए। पं. उमाशंकर शुक्ला ने बताया कि वे राज्य शासन को पत्र भेजकर रेंजर के खिलाफ जांच बिठाने और कड़ी कार्रवाई की मांग उठाएंगे। उल्लेखनीय है कि बकावंड क्षेत्र बस्तर विधायक एवं प्राधिकरण अध्यक्ष लखेश्वर बघेल का एरिया है। किंतु वन अधिकारी बेखौफ होकर भ्रष्टाचार में लिप्त है। पूर्व में पदस्थ वन क्षेत्रपाल भी व्यापक घोटाले कर तबादला लेकर चले गए देखना यह है कि क्या आगे कार्यवाही होगी या लूट खासौट का सिलसिला चलता रहेगा।

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