कोरबा. छत्तीसगढ़ के सूरजपुर जिले में रविवार को हाथियों के हमले की अलग-अलग घटनाओं में दो बुजुर्गों की मौत हो गई. वन अधिकारियों ने यह जानकारी दी. उन्होंने बताया कि घटना प्रेमनगर वन क्षेत्र में हुई, जहां पिछले एक सप्ताह से 12 हाथियों का झुंड घूम रहा है.
सूरजपुर वन मंडल के संभागीय वन अधिकारी संजय यादव ने बताया कि पहली घटना अभयपुर गांव के पास रात करीब साढ़े 12 बजे हुई, जहां पीड़ितों में से एक मनबोध गोंड (70) और एक अन्य ग्रामीण जंगल के एक मंदिर में पूजा कर रहे थे. उन्होंने कहा कि झुंड को देखकर, ग्रामीण भागने में सफल रहे, लेकिन हाथियों में से एक ने मनबोध को पकड़ लिया और उन्हें कुचलकर मार डाला. उन्होंने कहा कि ग्रामीणों को जंगल में न जाने की चेतावनी दी गई है.
इसी तरह, रायमती गोंड (70) पर उसी झुंड ने हमला किया, जब वह जनार्दनपुर गांव में अपनी झोपड़ी में सो रही थीं. उन्होंने कहा कि उनकी मौके पर ही मौत हो गई. अधिकारी ने बताया कि वन अधिकारी घटना स्थल पर पहुंचे और शवों को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया. उन्होंने कहा कि वनर्किमयों का एक दल झुंड की गतिविधियों पर नजर रख रहा है और ग्रामीणों को सतर्क कर दिया गया है.
अधिकारियों ने बताया कि प्रत्येक पीड़ित के परिवार के सदस्यों को 25-25 हजार रुपये की तत्काल सहायता दी गई है, जबकि शेष 5.75 लाख रुपये का मुआवजा औपचारिकताओं को पूरा करने के बाद दिया जाएगा. राज्य में विशेष रूप से उत्तरी भाग में मानव-हाथी संघर्ष पिछले एक दशक से चिंता का एक प्रमुख कारण बना हुआ है. यह खतरा पिछले कुछ वर्षों में मध्य क्षेत्र के जिलों में भी बना हुआ है.
खतरे का सामना करने वाले जिलों में सरगुजा, रायगढ़, कोरबा, सूरजपुर, महासमुंद, धमतरी, गरियाबंद, बालोद, बलरामपुर और कांकेर शामिल हैं. वन विभाग के अनुसार, पिछले तीन वर्षों में राज्य में हाथियों के हमले में 210 से अधिक लोग मारे गए हैं.
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